01
Jul
अपनी जिंदगी के नाम
दिल में जो आया वो लिख दिया.......कभी मिलन , कभी जुदाई लिख दिया
पहली बार मिले थे जहाँ हम …उन राहों का नाम मंजिल लिख दिया
किया तूने तार - तार मेरा दामन …जा मैंने भी तुझे बेवफा लिख दिया ….
इश्क का जूनून था या दीवानापन …जो अपनी साँसों को तेरे नाम लिख दिया
तेरी जुदाई है अब मुकद्दर मेरा इस जिंदगी का नाम इंतजार लिख दिया
दर्दे मोहब्बत के सिवा शायरी है क्या...जा तेरा नाम हमने ग़ज़ल लिख दिया
दफ़न हो गई हर आरजू सीने में किसी ने जब से तुझे सनम लिख दिया
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on Monday, July 01, 2013
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